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Super yoddha

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3 days ago

कुछ इंपॉर्टेंट बातें हैं जो आपको पहले ही बता देता हूं जिनमें सिर्फ तीन बातें हैं फर्स्ट इस कहानी में पॉकेट एफएम वाली सुपर योद्धा सीजन वन की कहानी को आगे बढ़ाया जाएगा और यह कहानी नोबल आधारित होगी । इस कहानी में नागरानी हिंसा भी जिंदा है और दूसरी बात मैं डेली एक एपिसोड अपलोड करूंगा पर आपके रिस्पांस को देखकर और तीसरी और सबसे लास्ट बात यह कहानी बिल्कुल फ्री होने वाली है तो चलिए कहानी शुरू करते हैं। दो शक्ति देवों की लड़ाई खत्म होने के बाद ध्रुव मिसा डोरिया वापस आ गया उसने ईरा और नागरानी हिसा से शादी की पूरे मार्कस महाद्वीप पर उनके शादी की बात हवा की तरह फैल गई उसके बाद ध्रुव या ईरा और नागरानी हिसा के के बारे में कोई खबर नहीं आई केवल कुछ लोग ही जानते थे कि ध्रुव कहां है दरअसल ध्रुव ने ईरा और नागरानी नीसा के लिए एक आयाम खोला था जिसमें जाकर वे दोनों शक्ति देव बनने की ट्रेनिंग कर सकते थे तब से अब तक उनमें से किसी की कोई खबर नहीं आई धुव को कोई चिंता नहीं थी क्योंकि उसे पता था कि इसमें बहुत समय लगता है ओ हान साम्राज्य के शहर मिस रिया शहर के पीछे का पहाड़ जहां ध्रुव का बचपन बीता था जहां से मिसोमा कोना दिखाई देता था उसी पहाड़ पर एक आदमी काले कपड़े पहने घास पर लेटा था मुंह में घास चबा रहा था और अपनी यादों में खोया हुआ था यह काले कपड़े वाला आदमी और कोई नहीं यह है ध्रुव शौर्य जो अब एक शक्ति देव भी है और दिव्य रोशनी सम्राट भी घास के क रस का स्वाद मुंह में घुलती ही उसको व दिन याद आ गया जब वह यहां पहली बार आचार्य से मिला था उसने मन ही मन में कहा मैं जब आचार्य से यहां पहली बार मिला था तब से अब तक में कितना कुछ बदल गया है वो यह सोच ही रहा था कि उसको कुछ महसूस हुआ वह घास से उठ खड़ा हुआ उसके चेहरे पर हल्की सी मुस्कान आ गई ध्रुव के सामने की जगह में शक्तियों का उतार चढ़ाव होने लगा पर ध्रुव को उससे कोई फर्क नहीं पड़ा उस जगह पर एक आयाम खुलने लगा जिसमें से एक शक्तिशाली शक्ति महसूस की जा सकती थी ध्रुव यह महसूस कर बोला मैंने तुम्हारा हर दिन इंतजार किया तभी आयाम से हरे कपड़े पहने एक खूबसूरत शांत स्वभाव की लड़की बाहर निकली और ध्रुप से जाकर गले लग गई और फिर बोली मैं मैंने भी तुम्हें बहुत याद किया ध्रुव यह लड़की और कोई नहीं विहान दल की देवी ईरा थी ध्रुव ने उसकी बढ़ी हुई शक्ति को देखकर कहा ईरा तुम्हारी शक्ति तो काफी ज्यादा बढ़ गई है अब तो तुम शक्ति देव रैंक तक आ गई हो ध्रुव की बात सुनकर ईरा ने ध्रुव के कान में कहा यह सब तुम्हारी ही वजह से हुआ है ध्रुव थैंक यू इतना कहकर ईरा ने ध्रुव को और कसकर गले लगा लिया तभी वहां किसी के खांसने की आवाज आई क्या हम गलत समय पर आ गए हैं दो अधेर उम्र के आदमी एक आयाम से बाहर आए और उन्होंने पूछा दरअसल वे दोनों पहले से ज्यादा नहीं बदले थे उनमें से एक थे ईरा के पिता महाव और दूसरे करिश्मा के पिता कनिष्क उन दोनों से निकलने वाली शक्तियां बहुत ज्यादा लग रही महाव को अपनी बेटी की खुशी देखकर बहुत सुकून मिल रही थी तभी ईरा ने ध्रुव से हटकर कहा पिताजी बुजुर्ग कनिष्क आप दो यहां महा बस यह सुनकर बोले अब आप दोनों शादीशुदा हैं यह कोई बड़ी बात नहीं है महाव ने ध्रुव से मजाक करते हुए कहा मैंने तारसी देव के खजाने के लालच में अपना सबसे कीमती खजाना सौर्य दल को भेजा और मुझे क्या पता था कि मैं उसे भी खो दूंगा यह सुनकर ध्रुव थोड़ा शर्मिंदा हो गया ध्रुव को देखकर महाव ने कहा अरे मैं तो मजाक कर रहा था मैं खुश हूं कि मुझे तुम जैसा दामाद मिला तभी ध्रुव ने उन दोनों की शक्ति को महसूस करके कहा आप दोनों लगता है विद्वान रैंक की बाधा को पार करके शक्ति देव रैंक पर आ गए हैं यह सुनकर बुजुर्ग कनिष्क ने कहा हां ध्रुव यह सब तुम्हारी ही देन है ध्रुव ने यह सुनकर बोला अगर आप दोनों में इतनी आत्म इच्छा शक्ति देव बनने की नहीं होती तो मैं भी आपकी ज्यादा मदद नहीं कर पाता और तभी ध्रुव को याद आया क्या निशा ने भी अपनी ट्रेनिंग पूरी कर ली है ध्रुव ने इतना कहा ही था कि आकाश में सतरंगी तेज हो गई फिर सारी रोशनिसेक्स आखिरकार इतने दिनों बाद मैंने यह मकाम हासिल कर ही लिया नीशा ने अंगड़ाई लेते हुए कहा फिर उसने आवाज में चिंता के साथ ध्रुव से पूछा क्या ध्रुविका ठीक है क्योंकि वह बहुत दिनों से ट्रेनिंग कर रही थी तो उसे ध्रुविका के बारे में कुछ नहीं पता था ध्रुव ने हिशा की चिंता से भरी आवाज सुनकर कहा हां ध्रुविका बिल्कुल ठीक है आचार्य खुद उसकी ट्रेनिंग करा रहे हैं महाव इतनी देर से ध्रुव की शक्तियों का पता लगा रहे थे परंतु उन्हें ध्रुव की शक्तियों का कुछ भी पता नहीं लग पाया तो अंत में उन्होंने पूछ ही लिया ध्रुव मैं अभी भी तुम शक्तियों का पता नहीं लगा पा रहा हूं तुम शक्ति देव होकर इतने ताकतवर कैसे हो सकते हो ध्रुव ने कुछ देर सोचकर कहा आप लोग सिर्फ अभी शक्ति देव रैंक की शुरुआती स्तर पर हैं अभी भी आपकी और मेरी शक्तियों में जमीन आसमान का अंतर है इसीलिए यह सुनकर वे चारों हैरान हो गए कि इतनी शक्तियों के बाद भी व महज सिर्फ शक्ति देव के शुरुआती स्तर तक पहुंचे हैं ध्रुव ने उन सब को अपने ख्यालों में खोता देखकर कहा जब आप सब अपनी ट्रेनिंग पूरी कर आ ही गए हैं तो चलिए महल चलते हैं मुझे वहां जाकर कुछ काम करना है इतना कहकर ध्रुव महल की ओर उड़ गया वे चारों भी ध्रुव के पीछे महल की ओर उड़ गए मिडोरिया शहर के बीचोबीच बना महल जिसकी ऊंचाई एक बार देखने पर मानो बादलों में कहीं खो जाती हो ध्रुव महल के हॉल में उन चारों के साथ पहुंचा महल के हॉल के ठीक सामने लीडर की कुर्सी पर अरद शौर्य बैठे थे उनके दाईं ओर आचार्य विदुर ध्रुविका के साथ खेल रहे थे और उनके बाईं ओर ध्रुव के भाई और अन्य लोग बैठे थे ध्रुव को देखकर अरद शौर्य ने कहा ध्रुव सब लोग ट्रेनिंग कर कर आ गए हैं अब तुम्हें जाना चाहिए एक सुपर योद्धा हमेशा तैयार होता है नई चीजों को देखने के लिए नई दुनिया घूमने के लिए दरअसल ध्रुव ने अपने पिता को बताया था कि जब सब लोग ट्रेनिंग करके बाहर आ जाएंगे तो वह उन सबके साथ दूसरी दुनिया में जाएगा दूसरी दुनिया का रास्ता सिर्फ एक शक्ति देव ही महसूस कर सकता है ध्रुव ने अपने पिता की बात सुनी और अपने दल को देखा उसको अपने शौर्य दल पर भरोसा था कि सब ठीक होगा फिर उसने सभी लोगों को अलविदा कहा और वे पांचों वहां से गायब हो गए दूर ब्लैक कॉर्नर में रक्ष अकेडमी के ऊपर निकले तारसी देव के महल का पहाड़ जो कि अब शक्ति देवों की लड़ाई के बाद देव पर्वत के नाम से जाना जाने लगा उस पहाड़ पर पांच लोग दिखाई दिए जो थोड़ी देर पहले वहां नहीं थे उन पांचों की शक्तियां इतनी ज्यादा भयानक थी कि सभी लोगों का ध्यान उन पांचों पर चला गया उन पांचों के समूह में सबसे आगे काले कपड़े पहने एक आदमी खड़ा था तभी किसी ने उसे पहचान कर कहा ये यह तो शक्ति देव ध्रुव शौर्य है अरे वो देखो ध्रुव के साथ नागरानी नीसा भी है भाई क्या मजाक कर रहे हो अरे तुमको ईरा नहीं दिखाई दे रही क्या नागरानी नीसा के साथ ईरा भी तो खड़ी है अरे हां हां भाई हां सही कह रहे हो तुम लोगों की फुसफुसाना में भी जा रही थी पर उन फुसफुसाना कोई ध्यान नहीं दे रहा था तभी ध्रुव ने उन चारों की ओर देखकर कहा आप सभी शक्ति देव रैंक की सीमा में तो आ चुके हैं लेकिन अपनी शक्तियों को बिना मूल धारा के आगे नहीं बढ़ा सकते क्योंकि मार्कस पर अब मूल धारा नहीं है यह बात मुझे तारसी देव ने बताई थी जब तक मैं इसका कोई हल नहीं खोज लेता तब तक आप सबको सावधान रहना चाहिए यह सुनकर उन चारों ने अपना सिर हिलाया बुजुर्ग कनि ने कुछ सोच करर पूछा ध्रुव तुम्हारी ताकत हमसे कितनी ज्यादा है उनकी बात सुन ध्रुव ने कुछ सोचकर कहा मुझे लगता है कि बहुत ज्यादा अंतर है पर कितना है यह पता नहीं क्योंकि मार्कस पर कहीं भी शक्ति देव रैंक के शक्तियों के बारे में जिक्र नहीं है यह सुनकर बुजुर्ग कनिष्क ने अपना सिर हां में हिलाया और कहा कोई नहीं अगर कोई मुझे मारने की कोशिश करेगा तो मैं उसका वह हाल कर दूंगा जो कोई भी सोच नहीं सकता ध्रुव को उनकी आंखों में जान से मारने की भावना साफ-साफ दिखाई दे रही थी ध्रुव ने सबको बताया मुझे एक हल्की आवाज किसी आयाम से आती है और लगता है मुझे मार्कस कहीं और भेजना चाहता है पर यह पता नहीं कहां आप सबको भी वह सील दिखाई दे रही है जो उस आयामी सुरंग पर चढ़ाई गई है यह सुनकर ईरा ने कहा नहीं मुझे तो वहां कोई सील नहीं दिखाई दे रही तभी फिर सबने मना कर दिया कि हमें भी वहां कुछ नहीं दिखाई दे रहा उन सब की बात सुनकर ध्रुव ने फिर कहा चलो मैं आज आप सबको दूसरी दुनिया में जाने का रास्ता दिखा देता हूं इतना कहकर ध्रुव आकाश में उड़ गया उसने अपने हाथों से कोई सील बनाया और आंखों को बंद करके अंजोनी शक्तियों को उस सिल में भरने लगा फिर उसने अपनी आंखें खोली और अपने दोनों हाथ को फैला दिया उसके इतना करते ही आसमान में कंपन महसूस की जा सकती थी सभी लोग उसे यह करते हुए देख रहे थे तभी वह सील जो उस आयामी सुरंग पर लगाई गई थी दिल दहला देने वाली आवाज के साथ टूट गई उस सुरंग से इतनी आयामी शक्ति निकली जो पूरे मार्कस महाद्वीप पर फैल गई और सामने और सामने 10 हजार फुट तक फैला एक काला आयामी सुरंग दिखाई दिया जो भयानक आवाज निकाल रहा था उस आयामी सुरंग को देखकर नागरानी नीसा महाव ईरा और बुजुर्ग कनिस का चेहरा पीला पड़ गया उनको नहीं लगा था कि इस शील ने इतनी भयानक शक्ति को बखूबी छुपा रखा था जो कि वह शक्ति देव बनकर भी महसूस नहीं कर पा रहे थे तभी वहां कई सारी आकृतियां दिखाई देने लगी जिनको देखकर लोगों को समझ आ गई कि अब शौर्य दल भी यहां पर आ गया है वे सभी लोग जादुई विमान से नीचे उतरे उनमें सबसे आगे अरद शौर्य और विदुर देव चल रहे थे विदुर देव की गोदी में ध्रुविका अपनी छोटी-छोटी आंखों से उस आयामी सुरंग को देख रही थी उन सबको देखकर ध्रुव और वे चारों सौर दल के पास पहुंचे ध्रुव ने जाकर अरन शौर्य के पैर छुए और कहा बाबा सबका ख्याल रखना मैं आपके भरोसे सब कुछ छोड़कर जा रहा हूं और लोग यह बात जानते थे कि ध्रुव के पास कितनी शक्ति है और वह उन शक्तियों से क्या कर सकता है फिर विदुर ने ध्रुव से कहा जाओ अपनी पहचान बनाओ दिखा दो दूसरी दुनिया को कि तुम क्या चीज हो मेरे छोटे से शिष्य जो मुझे देखकर भी डर गया था यह सुनकर ध्रुव ने अपना सिर हिलाया ध्रुविका विदुर की गोदी से उतरकर नीसा से जाकर लिपट गई और रोने लगी फिर रोते-रोते बोली मम्मी मुझे भी ले चलो ना मैं बहुत ताकतवर हूं हिसा ने उसको गोदी में उठा लिया नीसा के चेहरे पर उदासी देखकर ध्रुव ने ध्रुविका को अपनी गोद में लेकर बोला आपके मम्मी पापा बहुत खतरनाक जगह जा रहे हैं अगर आप भी हमारे साथ आना चाहते हो तो आचार्य विदुर की सारी बात सुनकर जल्दी से शक्ति देव बन जाओ फिर हम हमारी छोटी सी ध्रुविका को भी ले जाएंगे वहां खड़े लोगों में से कई सारे लोग तो रविका की शक्ति का पता भी नहीं लगा पा रहे थे और जो लगा पा रहे थे वह यह सोचकर हैरान थे कि इस बच्ची की ताकत तो अभी ही विद्वान रैंक पर है न जाने बड़े होने पर इसकी शक्तियों की मकाम कहां तक पहुंच जाएगी ध्रुविका ने अपने पापा की गोद से उतरकर अपने छोटे-छोटे हाथों से आंख पोछ बोली आप दोनों मेरा इंतजार करना मैं जल्दी ही शक्ति देव बनकर आप दोनों के पास आ जाऊंगी तभी यह बात सुनकर ईरा ने ध्रुविका से कहा और मुझे मुझे भूल गई ध्रुविका ध्रुविका ने उसकी तरफ देखकर कहा मैं सबसे ज्यादा आपको प्यार करती हूं ईरा मम्मी पर किसी को बताना मत दरअसल ध्रुव को डर लग रहा था कि उस अनजान रहस से मई दुनिया में ना जाने कौन सा खतरा उन सब का इंतजार कर रहा होगा इसलिए उसने चार आयामी पत्थर और कुछ गोलियां अपनी अंगूठी से बाहर निकाली और उनको उन चारों में बांट दिया और फिर कहा यदि आप किसी मुसीबत में हो तो इन पत्थरों को तोड़ देना जिससे हम सबको पता चल जाएगा कि कौन खतरे में है ताकि हम उसकी मदद कर सकेंगे और यह गोलियां आपको जखम ठीक करने और शक्तियां बढ़ाने के काम आएगी यदि कोई तेज नजर वाला व्यक्ति उन गोलियों को देखता तो जो ध्रुव ने ईरा नागरा नि नीसा महाव और बुजुर्ग कनिषक को दी थी तो वह बिना हैरान हुए रह नहीं पाता क्योंकि वह गोलियां नौ रैंक की हाई ग्रेड की गोलियां थी जो सुनहरी आत्मा से बनी थी उन्हें ध्रुव उन सबको ऐसे ही दे दे रहा था जैसे कि उसके लिए यह कोई आम बात हो ध्रुव ने फिर उड़ना शुरू कर दिया उसके साथ चारों भी उस आयाम में जाने लगे लोगों के सामने पांच शक्ति देव जो कि मार्कस के देव थे वह अब किसी और दुनिया में जा रहे थे कुछ लोग आह भरने से खुद को रोक ना सके वहीं नीचे करिश्मा खड़ी थी जिसने अब तक कुछ भी नहीं कहा था उसने मन ही मन में कहा ध्रुव भाई अगर तुम मर गए ना तो मैं तुम्हें छोडूंगी नहीं तुम्हें अभी भी मुझे मीठी गोलियां बनाकर देनी है ध्रुव ने मानो जैसे उसकी बात मन ही मन में पढ़ ली हो उसने ने हां में सिर हिला दिया और कहा आप सभी लोग अज्ञात खतरे से सावधान रहना और मेरी बातों का ध्यान रखना इतना कहकर उसने आखिरी बार मार्कस को देखा और मन ही मन में कहा मेरा इंतजार करना मार्कस मैं जल्दी आऊंगा और फिर ध्रुव रहस्यमय आयामी सुरंग की ओर चल दिया उस आयामी सुरंग को देखकर उसने कहा रहस्यमई दुनिया तैयार हो जाओ मैं ध्रुव शौर्य आ रहा हूं।


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